1) प्रभु ने मेरे प्रभु ने कहा: "तुम मेरे दाहिने बैठ जाओ। मैं तुम्हारे शत्रुओं को तुम्हारा पावदान बना दूँगा।"
2) ईश्वर सियोन से आपके राज्याधिकार का विस्तार करेगा। आप दूर तक अपने शत्रुओं के देश पर शासन करेंगे।
3) आपकी सेना के संघटन के दिन आपकी प्रजा आपका साथ देगी। आपके सैनिक सुसज्जित हो कर प्रभात की ज्योति में ओस की तरह चमकेंगे।
4) ईश्वर की यह शपथ अपरिवर्तनीय है "तुम मेलखीसेदेक की तरह सदा पुरोहित बने रहोगे"।
5) ईश्वर आपके दाहिने विराजमान है। जिस दिन राजा का क्रोध भड़क उठेगा, वह अन्य राजाओं को कुचल देंगे।
6) वह अन्य राष्ट्रों का न्याय करेंगे, असंख्य लोगों का वध करेंगे और पृथ्वी भर में उनका सर्वनाश करेंगे।
7) वह मार्ग में जलस्रोत का पानी पी कर अपना सिर ऊँचा करेंगे।