सामान्य काल का तीसरा सप्ताह, सोमवार - वर्ष 2

पहला पाठ

समूएल का दूसरा ग्रन्थ 5:1-7,10

“तुम ही मेरी प्रजा इस्राएल के चरवाहा बन जाओगे।”

इस्राएल के सभी वंशों ने हेब्रोन में दाऊद के पास आ कर कहा, “देखिए, हम आपके रक्त-भाई हैं। पहले भी, जब साऊल हम पर राज्य करते थे, आप ही इस्राएलियों को युद्ध के लिए ले जाते और वापस लाते थे। प्रभु ने आप से कहा है, “तुम ही मेरी प्रजा इस्राएल के चरवाहा, इस्राएल के शासक बन जाओगे।” इस्राएल के सभी नेता हेब्रोन में राजा के पास आये और दाऊद ने हेब्रोन में प्रभु के सामने, उनके साथ समझौता कर लिया। और उन्होंने दाऊद का इस्राएल के राजा के रूप में अभिषेक किया। जब दाऊद राजा बना, तो उसकी उमर तीस बरस की थी और वह चालीस बरस तक राज्य करता रहा। उसने हेब्रोन में साढ़े सात बरस तक यूदा पर राज्य किया और येरुसालेम में तैंतीस बरस तक समस्त इस्नाएल और यूदा पर राज्य किया। राजा ने अपने सैनिकों के साथ येरुसालेम जा कर यबूसियों पर, जो वहाँ के निवासी थे, आक्रमण किया। उन्होंने दाऊद से कहा, “तुम यहाँ प्रवेश नहीं करोगे। अंधे और लँगड़े ही तुम को भगा देंगे।” कहने का अभिप्राय यह था कि दाऊद यहाँ कभी प्रवेश नहीं कर सकेगा। किन्तु दाऊद ने सियोन के किले पर अधिकार कर लिया और उसका नाम दाऊद-नगर रखा। दाऊद की शक्ति निरन्तर बढ़ती गयी और प्रभु, विश्वमंडल का ईश्वर उसका साथ देता रहा।

प्रभु की वाणी।

भजन : स्तोत्र 88:20-22,25-26

अनुवाक्य : मेरी सत्यप्रतिज्ञता और मेरी कृपा उसका साथ देती रहेगी।

1. तूने प्राचीन काल में दर्शन दे कर अपने भक्तों से यह कहा था, “मैंने एक पराक्रमी योद्धा को मुकुट पहनाया, मैंने जनता में से एक नवयुवक को चुन लिया।”

2. “मैंने अपने सेवक दाऊद को चुन कर अपने पवित्र तेल से उसका अभिषेक किया। मेरा हाथ उसे सँभालता रहेगा और मेरा बाहुबल शक्ति प्रदान करेगा।”

3. “मेरी सत्यप्रतिज्ञता और मेरी कृपा उसका साथ देती रहेगी। मेरे नाम के कारण उसकी शक्ति बढ़ती जायेगी। मैं उसकी बाँह समुद्र तक बढ़ाऊँगा, और उसका भुजबल नदियों तक।”

जयघोष : 2 तिम० 1:10

अल्लेलूया ! हमारे मुक्तिदाता और मसीह ने मृत्यु का विनाश किया और अपने सुसमाचार द्वारा अमर जीवन को आलोकित किया। अल्लेलूया !

सुसमाचार

मारकुस के अनुसार पवित्र सुसमाचार 3:22-30

“शैतान का सर्वनाश हो गया है।”

येरुसालेम से आये हुए शास्त्री कहते थे, “उसे बेलजेबुल सिद्ध है” और वह नरकदूतों के नायक की सहायता से नरकदूतों को निकालता है।” येसु ने उन्हें अपने पास बुला कर यह दृष्टान्त सुनाया, “शैतान शैतान को कैसे निकाल सकता है? यदि किसी राज्य में फूट पड़ गयी हो, तो वह राज्य टिक नहीं सकता। यदि किसी घर में फूट पड़ गयी हो, तो वह घर टिक नहीं सकता। और यदि शैतान अपने ही विरुद्ध विद्रोह करे और उसके यहाँ फूट पड़ गयी हो, तो वह टिक नहीं सकता, और उसका सर्वनाश हो गया हे।” “कोई किसी बलवान्‌ के घर में घुस कर उसका सामान तब तक नहीं लूट सकता, जब तक कि वह उस बलवान्‌ को न बाँध ले। इसके बाद ही वह उसका घर लूट सकता है।” “मैं तुम लोगों से कहे देता हूँ - मनुष्य चाहे जो भी पाप या ईश-निन््दाू करें, उन्हें सब की क्षमा मिल जायेगी; परन्तु पवित्र आत्मा की निन््दा करने वाले को कभी भी क्षमा नहीं मिलेगी। वह अनन्त पाप का भागी है।” उन्होंने यह इसीलिए कहा कि कुछ लोग कहते थे, “उसे अपदूत सिद्ध है।”

प्रभु का सुसमाचार।