चालीसा काल का चौथा सप्ताह, सोमवार



पहला पाठ : इसायाह 65:17-21

17) “मैं एक नये आकाश और एक नयी पृथ्वी की सृष्टि करूँगा। पुरानी बातें भुला दी जायेंगी, उन्हें कोई याद नहीं करेगा।

18) मेरी उस सृष्टि में सदा आनन्द और उल्लास रहेगा। मैं येरुसालेम को आनन्दित और उसकी प्रजा को उल्लसित करूँगा।

19) तब येरुसालेम मुझे आनन्द प्रदान करेगा और मेरी प्रजा मेरे उल्लास का कारण बनेगी। उस में फिर न तो रुदन सुनाई देगा और न विलाप।

20) वहाँ न तो कोई ऐसा शिशु मिलेगा, जो थोड़े ही दिनों तक जीवित रहे और न कोई ऐसा वृद्ध, जो अपने दिन पूरे न कर पाये। हर युवक सौ वर्ष तक जीवित रहेगा- जो उस उमर तक नहीं पहुँचता, वह शापित माना जायेगा।

21) वे घर बनायेंगे और उन में निवास करेंगे; वे दाखबारियाँ लगायेंगे और उनके फल खायेंगे।

सुसमाचार : सन्त योहन 4:43-54

43) उन दो दिनों के बाद वह वहाँ से विदा हो कर गलीलिया गये।

44) ईसा ने स्वयं यह कहा था कि अपने देश में नबी का आदर नहीं होता।

45) जब वह गलीलिया पहुँचे, तो लोगों ने उनका स्वागत किया; क्योंकि ईसा ने पर्व के दिनों येरुसालेम में जो कुछ किया था, वह सब उन्होंने देखा था। पर्व के लिए वे भी वहाँ गये थे।

46) वे फिर गलीलिया के काना नगर आये, जहाँ उन्होंने पानी को अंगूरी बना दिया था। कफरनाहूम में राज्य के किसी पदाधिकारी का पुत्र बीमार था।

47) जब उस पदाधिकारी ने सुना कि ईसा यहूदिया से गलीलिया आ गये हैं, तो वह उनके पास आया। उसने उन से यह प्रार्थना की कि वह चल कर उसके पुत्र को चंगा कर दें, क्यांकि वह मरने-मरने को था।

48) ईसा ने उस से कहा, ‘‘आप लोग चिन्ह तथा चमत्कार देखे बिना विश्वास नहीं करेंगे’’।

49) इस पर पदाधिकारी ने उन से कहा, ‘‘महोदय! कृपया चलिए, कहीं मेरा बच्चा न मर जाये’’।

50) ईसा ने उत्तर दिया, ‘‘जाइए, आपका पुत्र अच्छा हो गया है’’। वह मनुष्य ईसा के वचन पर विश्वास कर चला गया।

51) वह रास्ते में ही था कि उसके नौकर मिल गये और उस से बोले, ‘‘आपका पुत्र अच्छा हो गया है’’।

52) उसने उन से पूछा कि वह किस समय अच्छा होने लगा था। उन्होंने कहा कि कल दिन के एक बजे उसका बुख़ार उतर गया।

53) तब पिता समझ गया कि ठीक उसी समय ईसा ने उस से कहा था, ‘आपका पुत्र अच्छा हो गया है’ और उसने अपने सारे परिवार के साथ विश्वास किया।

54) यह ईसा का दूसरा चमत्कार था, जो उन्होंने यहूदिया से गलीलिया आने के बाद दिखाया।

📚 मनन-चिंतन

ईश्वर ने नबी इसायाह द्वारा ये वादा किया था कि मैं एक नये आकाश और एक नयी पृथ्वी की सृष्टि करूॅगा। पुरानी बातें भुला दी जायेंगी, उन्हें कोई याद नहीं करेगा। (इसायाह 65:17); पिछली बातें भुला दो, पुरानी बातें जाने दो। देखो, मैं एक नया कार्य करते जा रहा हॅू। वह प्रारम्भ हो चुका है। (इसायाह 43:18-19) इसकी पूतीकरण के रूप में पिता ईश्वर ने प्रभु येसु को हमें प्रदान किया है। इसलिए वचन में कहता है कि जितनों ने उसे अपनाया, और जो उसके नाम में विश्वास करते हैं, उन सबों को उसने ईश्वर की सन्तति बनने का अधिकार दिया। (योहन 1:12); यदि कोई मसीह मे साथ एक हो गया है, तो वह नयी सृष्टि बन गया है। पुरानी बातें समाप्त हो गयी हैं और सब कुछ नया हो गया है। (2कुरिन्थियों 5:17); तब सिंहासन पर विराजमान व्यक्ति ने कहा, मैं सब कुछ नया बना देता हॅू। (प्रकाशना ग्रन्थ 21:5)

संत पौलूस कहते है कि किसी का ख़तना हूआ हो या नहीं, इसका कोई महत्व नहीं। महत्व इस बात का है कि हम़ पूर्ण रूप से नयी सृष्टि बन जायें। (गलातियों 6:15) हमें नयी सृष्टि बनने केलिए येसु के साथ एक होना है। येसु के साथ एक होने के लिए हमें क्या करना होगा? संत पौलूस किस प्रकार येसु के साथ एक होकर नयी प्राणी बन गये? वे कहते है- किन्तु मैं जिन बातों को लाभ समझता था, उन्हें मसीह के कारण हानि समझने लगा हॅू। इतना ही नहीं, मैं प्रभु ईसा मसीह को जानना सर्वश्रेष्ट लाभ मानता हॅू और इस ज्ञान की तुलना में हर वस्तु को हानि ही मानता हॅू। उन्ही केलिए मैंने सब कुछ छोड़ दिया है और उसे कूड़ा समझता हॅू, जिससे मैं मसीह को प्राप्त करूॅ और उनके साथ पुर्ण रूप् से एक हो जाऊॅ। (फिलिप्पियों 3:7-9)

येसु हमें नया करने वाला है। आईए हम येसु के पास जायें वह हमारी दुर्बलताओं को बीमारियों को पापों को परेशानियों को कमजोरियों को दूर करेगा और हमें नया बनायेगा।


-फादर शैलमोन आन्टनी


📚 REFLECTION


The Lord says in Isa 65:17 For I am about to create new heavens and a new earth; the former things shall not be remembered or come to mind. Again the Word of God says Isa 43:18-19 Do not remember the former things, or consider the things of old. I am about to do a new thing; now it springs forth, do you not perceive it? I will make a way in the wilderness and river in the desert. In order to fulfill this God the Father gave us his only Son Jesus Christ. Therefore the word of God says in Jn 1:12 But to all who received him, who believed in his name, he gave power to become children of God. (2Cor 5:17) So if anyone is in Christ, there is a new creation; everything old has passed away; see, everything has become new. Rev. 21:5 and the one who was seated on the throne said “see, I am making all things new”

St Paul says in Gal 6:15 For neither circumcision or uncircumcision is anything; but a new creation is everything. In order to become a new creation we need to become one with Jesus Christ. What should we do in order to become one with Jesus? St. Paul give us the explanation from his life (Philip 3:7-9) Yet whatever gains I had, these I have come to regard as loss because of Christ. More than that, I regard everything as loss because of the surpassing value of knowing Christ Jesus my Lord. For his sake I have suffered the loss of all things, and I regard them as rubbish, in order that I may gain Christ.

Jesus is the one who makes us new. Let’s carry all our difficulties, sinfulness, weakness, sickness to Jesus. He will heal us and make us whole.

-Fr. Shellmon Antony


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Praise the Lord!