प्रभात वन्दना

पास्का अठवारा - मंगलवार


अगुआ : प्रभु! हमारे अधरों को खोल दे।

समूह : और हम तेरे नाम का गुणगान करेंगे।


आमंत्रक स्तोत्र

आमन्त्रक अग्र. : प्रभु सचमुच जी उठे हैं; अल्लेलूया।

मंगलगान

ख्रीस्त हमारा जी उठा, खुशी मनायें अल्लेलूया।

आओ ख्रीस्त भक्त-गण आओ, परित्राता की महिमा गाओ,
पास्का की पूजनीय बलि को, तुम सब महिमा-गान चढ़ाओ।

मरिया तू हमें ये हाल बता, आज सबेरे जो देख लिया,
जी उठे ख्रीस्त की कब्र पर, बैठे दो दूत अति मनोहर।

सुखद वचन वे कहते ऐसे, जीते येसु बोले जैसे,
करते हैं विश्वास ख्रीस्त पर, विजयनाथ दया कर हम पर।

अग्र. 1 : ख्रीस्त जी उठे हैं, उन्होंने अपने रक्त से जिनका उध्दार किया है, वह उनकी ज्योति है, अल्लेलूया।


स्तोत्र 62:2-9 प्रभु के दर्शनों के लिए तरसती आत्मा।

ईश्वर! तू ही मेरा ईश्वर है! मैं तुझे ढूँढ़ता रहता हूँ।
मेरी आत्मा तेरे लिए प्यासी है।
जल के लिए सूखी सन्तप्त भूमि की तरह,
मैं तेरे दर्शनों के लिए तरसता हूँ।

मैंने तेरे मंदिर में तेरे दर्शन किये,
मैंने तेरा सामर्थ्य और तेरी महिमा देखी है।
तेरी सत्यप्रतिज्ञता प्राणों से भी अधिक प्यारी है।
मेरा कण्ठ तेरी स्तुति करता था।

मैं जीवन भर तुझे धन्य कहूँगा
और तुझ से करबद्ध प्रार्थना करता रहूँगा।
मेरी आत्मा मानों उत्तम व्यंजनों से तृप्त होगी;
मैं उल्लसित हो कर तेरी स्तुति करूँगा।

मैं अपनी शय्या पर भी तुझे याद करता हूँ;
मैं रात भर तेरा मनन करता हूँ।
तू सदा मेरा सहारा रहा है;
मैं तेरे पंखों की छाया में सुखी हूँ।

मेरी आत्मा तुझे में आसक्त रहती है;
तेरा दाहिना हाथ मुझे सँभालता रहता है।

अग्र. : ख्रीस्त जी उठे हैं, उन्होंने अपने रक्त से जिनका उध्दार किया है, वह उनकी ज्योति है, अल्लेलूया।

अग्र. 2 :ख्रीस्त हमारे उध्दारक कब्र में से जी उठे हैं। हम अपने प्रभु ईश्वर के आदर में एक नया गीत गायें, अल्लेलूया।


भजन स्तुति : दानिएल 3:57-88, 56

प्रभु की समस्त कृतियों! प्रभु को धन्य कहो।
उसकी स्तुति करो और सदा-सर्वदा उसकी महिमा गाओ।
प्रभु के दूतों! प्रभु को धन्य कहो।
आकाश! प्रभु को धन्य कहो।

आकाश के ऊपर के जल! प्रभु को धन्य कहो।
विश्वमण्डल! प्रभु को धन्य कहो।
सूर्य और चंद्रमा! प्रभु को धन्य कहो।
आकाश के तारामण्डल प्रभु को धन्य कहो।

वर्षा और ओस! तुम दोनों प्रभु को धन्य कहो।
पवनो! तुम सब प्रभु को धन्य कहो।
अग्नि और ताप! प्रभु को धन्य कहो।
शीत और ग्रीष्म! प्रभु को धन्य कहो।

ओस और तुषार! प्रभु को धन्य कहो।
ठण्ड और पाले! प्रभु को धन्य कहो।
बर्फ और हिमपात! प्रभु को धन्य कहो।
रात और दिन! प्रभु को धन्य कहो।

प्रकाश और अन्धकार! प्रभु को धन्य कहो।
बिजली और बादलों! प्रभु की स्तुति करो
पृथ्वी प्रभु को धन्य कहे,
उसकी स्तुति करे और सदा-सर्वदा उसकी महिमा गाये।

पर्वतों और पहाड़ियों! प्रभु को धन्य कहो।
पृथ्वी के सब वनस्पतियो! प्रभु को धन्य कहो।
झरनो! प्रभु को धन्य कहो।
समुद्रों और नदियों! प्रभु को धन्य कहो।

मकर और जलचरगण! प्रभु को धन्य कहो।
आकाश के समस्त पक्षियो! प्रभु को धन्य कहो।
सब बनैले और पालतू पशुओं! प्रभु को धन्य कहो।
मनुष्य की सन्तति! प्रभु को धन्य कहो।

इस्राएल! प्रभु को धन्य कहो।
उसकी स्तुति करो और सदा-सर्वदा उसकी महिमा गाओ।
प्रभु के याजको! प्रभु को धन्य कहो।
प्रभु के सेवको! प्रभु को धन्य कहो।

धर्मियों की आत्मोओं! प्रभु को धन्य कहो।
संतो और हृदय के दीन लोगों! प्रभु को धन्य कहो।
हनन्या, अजर्या और मीशाएल! प्रभु को धन्य कहो,
उसकी स्तुति करो और सदा-सर्वदा उसकी महिमा गाओ।

हम पिता और पुत्र और पवित्र आत्मा को धन्य कहें।
उसकी स्तुति करें और सदा-सर्वदा उसकी महिमा गायें।
स्वर्ग में विराजमान प्रभु! तू धन्य है,
सदा-सर्वदा प्रशंसनीय महिमामय और सर्वोच्च।

अग्र. :ख्रीस्त हमारे उध्दारक कब्र में से जी उठे हैं। हम अपने प्रभु ईश्वर के आदर में एक नया गीत गायें, अल्लेलूया।

अग्र. 3 : अल्लेलूया, प्रभु ने जैसे कहा, वैसे ही वह जी उठे हैं, अल्लेलूया।


स्तोत्र 149 सन्तों का उल्लास।

प्रभु के आदर में नया गीत गाओ,
भक्तों की सभा में उसकी स्तुति करो।

इस्राएल अपने सृष्टिकर्ता में आनन्द मनाये।
सियोन के पुत्र अपने राजा का जयकार करें।

वे नृत्य करते हुए उसका नाम धन्य कहें,
डफली और सितार बजाते हुए प्रभु का भजन गायें;

क्योंकि प्रभु अपनी प्रजा को प्यार करता
और पददलितों का उद्धार करता है।

प्रभु के भक्त विजय के गीत सुनायें
और अपने शिविर में आनन्द मनायें।

उनका कण्ठ ईश्वर का गुणगान करे।
उनके हाथ में दुधारी तलवार हो,
जिससे वे अन्य जातियों से बदला चुकायें, राष्ट्रों को दण्डित करें,

उनके राजाओं को बेड़ियाँ पहना दें,
उनके नेताओं को लोहे की श्रृंखलाओं से बाँध लें
और उनके विरुद्ध दिया हुआ दण्ड पूरा करें।
इस में सभी भक्तों का गौरव है।

अग्र. : अल्लेलूया, प्रभु ने जैसे कहा, वैसे ही वह जी उठे हैं, अल्लेलूया।


धर्मग्रन्थ-पाठ : प्रेरित-चरित 13:30-33

ईश्वर ने येसु को तीसरे दिन मृतकों में से पुनर्जीवित किया और वह बहुत दिनों तक उन लोगों को दर्शन देते रहे, जो उनके साथ गलीलिया से येरूसालेम आये थे। अब वे ही जनता के सामने उनके साक्षी हैं। हम आप लोगों का यह सुसमाचार सुनाते हैं कि ईश्वर ने हमारे पूर्वजों से जो प्रतिज्ञा की थी, उसे उनकी संतति के लिए अर्थात् हमारे लिए पूरा किया है। उसने येसु को पुनर्जीवित किया है, जैसा कि द्वितीय स्तोत्र में लिखा है, तुम मेरे पुत्र हो। आज मैंने तुम को उत्पन्न किया हैं।

लघु अनुवाक्य : यही है प्रभु का ठहराया हुआ दिन, प्रफुल्लित मन हम आनन्द मनायें, अल्लेलूया।


ज़ाकरी गान

अग्र. : येसु ने कहा – “मरियम”। मरियम ने मुड़कर उनसे कहा – ’रब्बोनी’ अर्थात्‍ “गुरुवर”।

धन्य है प्रभु, इस्राएल का ईश्वर!
उसने अपनी प्रजा की सुध ली है
और उसका उद्धार किया है।
उसने अपने दास दाऊद के वंश में
हमारे लिए एक शक्तिशाली मुक्तिदाता उत्पन्न किया है।

वह अपने पवित्र नबियों के मुख से
प्राचीन काल से यह कहता आया है
कि वह शत्रुओं और सब बैरियों के हाथ से हमें छुड़ायेगा
और अपने पवित्र विधान को स्मरण कर
हमारे पूर्वजों पर दया करेगा।

उसने शपथ खा कर हमारे पिता इब्राहीम से कहा था
कि वह हम को शत्रुओं के हाथ से मुक्त करेगा,
जिससे हम निर्भयता, पवित्रता और धार्मिकता से
जीवन भर उसके सम्मुख उसकी सेवा कर सकें।

बालक! तू सर्वोच्च ईश्वर का नबी कहलायेगा,
क्योंकि प्रभु का मार्ग तैयार करने
और उसकी प्रजा को उस मुक्ति का ज्ञान कराने के लिए,
जो पापों की क्षमा द्वारा उसे मिलने वाली है,
तू प्रभु का अग्रदूत बनेगा।

हमारे ईश्वर की प्रेमपूर्ण दया से
हमें स्वर्ग से प्रकाश प्राप्त हुआ है,
जिससे वह अन्धकार और मृत्यु की छाया में बैठने वालों को ज्योति प्रदान करे
और हमारे चरणों को शान्ति-पथ पर अग्रसर करे।"

पिता और पुत्र और पवित्र आत्मा की महिमा हो
जैसे वह आदि में थी, अब है और अनन्त काल तक। आमेन।

अग्र. : येसु ने कहा – “मरियम”। मरियम ने मुड़कर उनसे कहा – ’रब्बोनी’ अर्थात्‍ “गुरुवर”।


सामूहिक निवेदन

अगुआ : प्रभुवर का शरीर-रूपी मंदिर मृत्यु द्वारा ध्वस्त हुआ तो उन्होंने अपनी ही दिव्य शक्ति से उस मंदिर का नवनिर्माण किया। आइये, हम आनन्द-विभोर होकर उनसे निवेदन करें।
समूह : हे प्रभु, हमें अपने पुनरुत्थान के वरदान से अनुगृहीत कर।
• हे प्रभु,तू ने अपने पुनर्जीवित शरीर के दर्शन देकर अपने प्रेरितों तथा भक्त महिलाओं को मुक्ति का सन्देश सुनाया – आज के युग में हम तेरे साक्षी बनें।
• तूने सब मनुष्यों को उनके पुनरुत्थान का वचन दिया – तू हमें अपने शुभ सन्देश के वाहक बना दे जिससे हमारे द्वारा लोगों के लिए नयी आशा के द्वार खुल जायें।
• तूने अपने शिष्यों को दर्शन दिये और उनमें पवित्र आत्मा की शक्ति फूँक दी – तू हममे भी अपने आत्मा की शक्ति का संचार कर, जो निर्माण और नवीन करता है।
• तूने संसार के अन्त तक अपने शिष्यों के साथ रहने का वचन दिया है – आज पूरा दिन और सदैव हमारे साथ बना रहे।

हे हमारे पिता ....


समापन प्रार्थना

अगुआ :हे प्रभु ईश्वर, पास्का-रहस्यों द्वारा तूने हमें स्वास्थ्य लाभ प्रदान किया है। अपने लोगों के प्रति तु उदार बना रह – हमें पूर्ण स्वतंत्रता में ले चल, जिससे पृथ्वी पर जो आनन्द हमारे जीवन-मार्ग को हर्षित करती है वह स्वर्ग में पूर्ण हो। हम यह प्रार्थना करते हैं, उन्हीं हमारे प्रभु येसु ख्रीस्त तेरे पुत्र के द्वारा जो परमेश्वर होकर तेरे तथा पवित्र आत्मा के साथ युगानुयुग जीते और राज्य करते हैं।

समूह : आमेन।

अगुआ : प्रभु हमको आशीर्वाद दे, हर बुराई से हमारी रक्षा करे और हमें अनन्त जीवन तक ले चले।

समूह : आमेन।

अगुआ : ख्रीस्त की शांति में जाइये, अल्लेलूया, अल्लेलूया।

समूह : ईश्वर को धन्यवाद, अल्लेलूया, अल्लेलूया।


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Praise the Lord!